इंटरव्यू कॉल बढ़ाने के लिए रिज्यूमे को ATS (Applicant Tracking System) फ्रेंडली कैसे बनायें

इंटरव्यू कॉल बढ़ाने के लिए रिज्यूमे को ATS (Applicant Tracking System) फ्रेंडली कैसे बनायें

विषय सूची

1. रिज्यूमे में सही कीवर्ड्स का चयन

ATS (Applicant Tracking System) के लिए कीवर्ड्स क्यों ज़रूरी हैं?

आजकल भारत में बड़ी कंपनियाँ और MNCs अपने रिक्रूटमेंट प्रोसेस को ऑटोमेट करने के लिए ATS का इस्तेमाल करती हैं। ये सिस्टम आपके रिज्यूमे को स्कैन करके उसमें दिए गए कीवर्ड्स के आधार पर उसे शॉर्टलिस्ट करते हैं। इसका मतलब है कि अगर आपने अपने रिज्यूमे में सही कीवर्ड्स नहीं डाले, तो आपका रिज्यूमे इंटरव्यू कॉल तक नहीं पहुँच पाएगा, चाहे आपके पास कितनी भी अच्छी क्वालिफिकेशन या एक्सपीरियंस क्यों न हो।

अपने लक्ष्य जॉब रोल के लिए जरूरी कीवर्ड्स कैसे पहचानें?

स्टेप 1: जॉब डिस्क्रिप्शन को ध्यान से पढ़ें

सबसे पहले, जिस जॉब के लिए आप अप्लाई करना चाहते हैं, उसकी जॉब डिस्क्रिप्शन (JD) को अच्छी तरह पढ़िए। उसमें जो भी स्किल्स, टूल्स, सॉफ्टवेयर या क्वालिफिकेशन बार-बार बताई गई हैं, उन्हें नोट कर लीजिए।

स्टेप 2: इंडस्ट्री-स्पेसिफिक टर्म्स का पता करें

हर इंडस्ट्री और हर जॉब प्रोफाइल के कुछ खास शब्द होते हैं, जैसे IT सेक्टर में “Python”, “SQL”, “Agile”, या सेल्स के लिए “Lead Generation”, “B2B Sales” आदि। इन्हें पहचानना जरूरी है।

स्टेप 3: लोकल व ग्लोबल दोनों तरह के कीवर्ड्स शामिल करें

भारत में काम करने वाली कंपनियाँ कभी-कभी लोकल टर्म्स का भी यूज़ करती हैं, जैसे “MIS रिपोर्टिंग”, “GST Filing” आदि। वहीं, MNCs इंटरनेशनल टर्म्स को प्राथमिकता देती हैं। दोनों का बैलेंस बनाकर चलना बेहतर है।

उदाहरण के लिए एक आसान टेबल:

जॉब रोल कीवर्ड्स (लोकल + ग्लोबल)
HR Executive Recruitment, Payroll Management, Employee Engagement, MIS Reporting
Software Developer Java, Python, Full Stack Development, API Integration, Agile Methodology
Accountant Tally, GST Filing, Financial Reporting, Auditing, Balance Sheet

कीवर्ड्स को प्राकृतिक ढंग से रिज्यूमे में कैसे डालें?

सिर्फ कीवर्ड्स जोड़ना काफी नहीं है; इन्हें अपने काम के अनुभव और स्किल्स में नेचुरली शामिल करें। उदाहरण:

  • गलत तरीका: Java, Python, C++, SQL (सिर्फ लिस्ट बना दी)
  • सही तरीका: Developed backend modules using Java and integrated SQL databases for a fintech project.
नोट:

अपने रिज्यूमे को हर जॉब एप्लिकेशन के हिसाब से थोड़ा-कुछ बदलना यानी कस्टमाइज़ करना हमेशा फायदेमंद होता है। इससे आपका रिज्यूमे ATS में आसानी से पहचाना जाएगा और इंटरव्यू कॉल मिलने की संभावना बढ़ जाएगी।

2. फॉर्मेटिंग और लेआउट की सादगी

अगर आप चाहते हैं कि आपका रिज्यूमे भारतीय कंपनियों के ATS (Applicant Tracking System) में आसानी से स्कैन हो जाए और इंटरव्यू कॉल्स बढ़ें, तो फॉर्मेटिंग और लेआउट की सादगी सबसे जरूरी है। यहाँ कुछ आसान और प्रैक्टिकल टिप्स दिए गए हैं:

एक सिंपल और क्लियर फॉर्मेट चुनें

रिज्यूमे का फॉर्मेट जितना साधारण होगा, ATS उतनी ही आसानी से आपकी जानकारी पढ़ सकेगा। इसीलिए .docx या .pdf फाइल फॉर्मेट का इस्तेमाल करें। ये फॉर्मेट्स भारत में लगभग हर कंपनी के ATS में सपोर्टेड होते हैं।

फॉर्मेट ATS फ्रेंडली? इंडिया में उपयोगिता
.docx हाँ बहुत ज्यादा (Microsoft Word)
.pdf हाँ (सिंपल टेक्स्ट PDF) अधिकतर कंपनियाँ स्वीकार करती हैं
.jpg/.png नहीं बिल्कुल न भेजें
.ppt/.xls नहीं बिल्कुल न भेजें

रंगीन या ग्राफिकल एलिमेंट्स से बचें

इंडियन जॉब मार्केट में कई लोग अपने रिज्यूमे को सुंदर बनाने के लिए रंगीन बॉर्डर्स, शेड्स, या ग्राफिक्स डालते हैं, लेकिन इससे ATS आपके रिज्यूमे को सही से पढ़ नहीं पाता। इसलिए सिर्फ ब्लैक एंड व्हाइट टेक्स्ट रखें और कोई भी इमेज या ग्राफिक न डालें। इससे आपका रिज्यूमे हर तरह के ATS में आसानी से स्कैन होगा।

आसान पढ़ने योग्य फॉन्ट्स का उपयोग करें

Calibri, Arial, Times New Roman जैसे सिंपल फॉन्ट्स यूज़ करें। बहुत डेकोरेटिव या स्क्रिप्ट फॉन्ट्स से बचें क्योंकि ये भारतीय ATS सॉफ्टवेयर में दिक्कत कर सकते हैं। फॉन्ट साइज 10-12 पॉइंट रखें ताकि सब कुछ साफ-साफ दिखे।

लेआउट कैसा होना चाहिए?
  • एक कॉलम लेआउट: दो या तीन कॉलम का प्रयोग न करें। एक सीधी लाइन वाला लेआउट ATS के लिए बेस्ट है।
  • स्पेसिंग: हर सेक्शन के बीच पर्याप्त जगह छोड़ें ताकि रिक्रूटर भी आसानी से पढ़ सके।
  • हेडिंग्स: जैसे “शिक्षा”, “अनुभव”, “कौशल” आदि, बोल्ड में दें जिससे ATS इन्हें पहचान सके।
  • बुलेट पॉइंट्स: लंबी-लंबी लाइनों की जगह छोटी-छोटी बुलेट्स यूज़ करें ताकि जानकारी जल्दी मिले।

इन आसान स्टेप्स को फॉलो करके आप अपना रिज्यूमे पूरी तरह ATS फ्रेंडली बना सकते हैं और इंडियन रिक्रूटर्स से ज्यादा इंटरव्यू कॉल पा सकते हैं।

पर्सनल डिटेल्स में भारतीय मानक

3. पर्सनल डिटेल्स में भारतीय मानक

पर्सनल डिटेल्स ATS फ्रेंडली कैसे लिखें?

इंटरव्यू कॉल बढ़ाने के लिए आपका रिज्यूमे जितना प्रोफेशनल होगा, HR उतनी जल्दी आपसे संपर्क कर पाएंगे। पर्सनल डिटेल्स सेक्शन छोटा जरूर है, लेकिन यह बहुत जरूरी है कि यहाँ भारतीय स्टैंडर्ड्स को फॉलो करें और सारी जानकारी सही-सही दें। खासकर जब आप ATS (Applicant Tracking System) फ्रेंडली रिज्यूमे बना रहे हों, तो हर डिटेल क्लियर होनी चाहिए।

जरूरी पर्सनल डिटेल्स की सूची

डिटेल कैसे लिखें?
नाम (Name) पूरा नाम साफ और स्पेलिंग सही लिखें
जैसे – Rahul Sharma
संपर्क नंबर (Contact Number) हमेशा भारत का ISD कोड (+91) जोड़ें
जैसे – +91 9876543210
ईमेल आईडी (Email ID) प्रोफेशनल ईमेल इस्तेमाल करें
जैसे – [email protected]
वर्तमान शहर (Current City) केवल शहर और राज्य लिखें
जैसे – Bengaluru, Karnataka

भारतीय संदर्भ में कुछ खास बातें

  • रिज्यूमे में फोटो, जन्मतिथि, जाति या धर्म जैसी जानकारी देने की जरूरत नहीं है जब तक जॉब डिस्क्रिप्शन में मांगी न गई हो।
  • ATS सिस्टम आपके नाम, नंबर और लोकेशन से ही शॉर्टलिस्टिंग करता है, इसलिए ये बिल्कुल सही और अपडेटेड होने चाहिए।
HR को आसानी से कैसे संपर्क करने दें?
  1. अपने मोबाइल नंबर में कभी भी ISD कोड (+91) मिस न करें, क्योंकि कई ATS सॉफ्टवेयर बिना कोड वाले नंबर को स्किप कर देते हैं।
  2. Email ID हमेशा एक्टिव रखें और स्पेलिंग जांच लें ताकि कोई गलती न हो।
  3. लोकेशन डालते समय सिर्फ शहर-राज्य लिखें; पूरा पता देने की जरूरत नहीं।

अगर आपकी पर्सनल डिटेल्स सेक्शन इस तरह ATS फ्रेंडली और भारतीय मानकों के अनुसार तैयार होगी, तो HR के लिए आप तक पहुँचना आसान रहेगा और इंटरव्यू कॉल्स मिलने के चांस भी बढ़ जाएंगे।

4. एजुकेशन और एक्सपीरियंस अनुभाग के लिए स्पष्टता

शैक्षिक योग्यता और कार्यानुभव को ATS फ्रेंडली कैसे बनायें?

इंटरव्यू कॉल पाने के लिए आपका रिज्यूमे जितना साफ और सटीक होगा, उतना ही अच्छा है। ATS (Applicant Tracking System) अक्सर आपके रिज्यूमे की जाँच करता है कि उसमें जरूरी जानकारी सही फॉर्मेट में लिखी है या नहीं। खासकर शैक्षिक योग्यता (Education) और कार्य अनुभव (Experience) सेक्शन में क्लैरिटी बेहद जरूरी है।

शैक्षिक योग्यता और कार्यानुभव को रिवर्स क्रोनोलॉजिकल ऑर्डर में रखें

हमेशा ध्यान रखें कि आपकी सबसे नई डिग्री या जॉब सबसे ऊपर होनी चाहिए। इससे HR या ATS को तुरंत पता चल जाता है कि आपकी लेटेस्ट क्वालिफिकेशन क्या है। नीचे दिए गए टेबल से समझें:

टाइम पीरियड संस्था/कंपनी का नाम पद/कोर्स का नाम मुख्य जिम्मेदारियाँ या उपलब्धियाँ
2022 – वर्तमान Tata Consultancy Services सॉफ्टवेयर इंजीनियर Java Development, Client Interaction
2019 – 2022 IIT Delhi B.Tech (Computer Science) CGPA: 8.5/10, Coding Club Member
2017 – 2019 Kendriya Vidyalaya, Mumbai 12th Science (PCM) Percentage: 89%

प्रत्येक जॉब/डिग्री के लिए तारीख और संस्था का नाम स्पष्ट रूप से लिखें

भारतीय कंपनियों और इंटरनेशनल HRs दोनों के लिए डेट्स और नाम क्लियर होना चाहिए। तारीखों को महीने और साल के फॉर्मेट में लिखें, जैसे – जून 2022 – वर्तमान। संस्था या कंपनी का पूरा नाम लिखें, शॉर्ट फॉर्म या लोकल स्लैंग से बचें। उदाहरण:

  • कंपनी का नाम: Infosys Limited
  • पद: सिस्टम इंजीनियर ट्रेनी
  • समयावधि: अगस्त 2021 – मई 2023
  • मुख्य जिम्मेदारियाँ: SAP Implementation, टीम लीडरशिप (Team Leadership)
संक्षिप्त सुझाव:
  • Date Format: जून 2020 – जुलाई 2022 (Month Year – Month Year)
  • Name Format: पूरा संस्थान/कंपनी का नाम लिखें जैसे Indian Institute of Technology Bombay, न कि सिर्फ IIT Bombay.
  • Main Responsibilities: बुलेट पॉइंट्स में संक्षेप में लिखें ताकि ATS आसानी से स्कैन कर सके।
  • No Gaps & Overlaps: टाइमलाइन में कोई गैप या ओवरलैप न दिखाएं, अगर गैप है तो उसे भी संक्षेप में बताएं।

इस तरह आप अपने रिज्यूमे के एजुकेशन और एक्सपीरियंस सेक्शन को न सिर्फ ATS फ्रेंडली बना सकते हैं बल्कि इंडियन हायरिंग प्रैक्टिसेज के अनुसार भी तैयार कर सकते हैं। सही फॉर्मेटिंग और क्लैरिटी से आपके इंटरव्यू कॉल्स की संभावना बढ़ जाती है।

5. मूल्यांकन योग्य कौशल और उपलब्धियां

अपने रिज्यूमे में स्किल्स और अचीवमेंट्स कैसे दिखाएं?

इंटरव्यू कॉल पाने के लिए ATS फ्रेंडली रिज्यूमे में आपके पास मौजूद टेक्निकल स्किल्स, प्रोजेक्ट्स और खास उपलब्धियों को बुलेट पॉइंट्स या टेबल में साफ-साफ लिखना बहुत जरूरी है। खासकर भारतीय जॉब मार्केट में मान्य और ट्रेंडिंग स्किल्स को हाईलाइट करें।

उदाहरण के लिए, आप नीचे दी गई जानकारी शामिल कर सकते हैं:

Skill/Project/अचीवमेंट डिटेल
Python Programming डेटा एनालिसिस के लिए Pandas, NumPy का इस्तेमाल; 2+ साल का अनुभव
Web Development Project E-commerce वेबसाइट डिज़ाइन की, जिसमें ReactJS और NodeJS यूज़ किया गया
Communication Skills टीम लीडरशिप; क्लाइंट मीटिंग्स और प्रजेंटेशन एक्सपीरियंस
Award: Employee of the Month (TCS) 2023 में TCS में आउटस्टैंडिंग परफॉर्मेंस के लिए सम्मानित किया गया
Certification: AWS Certified Solutions Architect 2024 में अमेज़न वेब सर्विसेस की सर्टिफिकेशन प्राप्त की
Internship: Infosys Summer Internship 6 महीने तक इंफोसिस में सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट प्रोजेक्ट पर काम किया

कुछ आसान टिप्स:

  • बुलेट पॉइंट्स का प्रयोग करें: हर स्किल या अचीवमेंट को छोटे-छोटे बुलेट्स में लिखें जिससे ATS आसानी से पढ़ सके।
  • की-वर्ड्स इन्क्लूड करें: JD (Job Description) में दिए गए की-वर्ड्स को अपने कौशलों के साथ जोड़ें जैसे – Java, SAP, Digital Marketing आदि।
  • नंबर और रिजल्ट जोड़ें: जहाँ संभव हो, अपने काम का असर नंबरों में बताएं – जैसे “20% प्रोडक्टिविटी बढ़ाई” या “100+ कस्टमर क्वेरीज हल कीं।”
  • प्रोजेक्ट्स इंडियन इंडस्ट्री से जुड़ें हों: ऐसे प्रोजेक्ट्स हाईलाइट करें जो भारत की कंपनियों या ग्राहकों के लिए किए हों।

6. स्पेलिंग और ग्रामर का ध्यान

अगर आप चाहते हैं कि आपका रिज्यूमे ATS (Applicant Tracking System) में सही तरीके से पढ़ा जाए और HR या Recruiter तक पहुंचे, तो सबसे जरूरी है कि उसमें कोई स्पेलिंग या ग्रामर की गलती न हो। भारतीय इंग्लिश या हिंदी के अनुसार शुद्ध शब्दों और सही ग्रामर का इस्तेमाल करें। गलतियाँ आपके प्रोफेशनल इमेज को नुकसान पहुँचा सकती हैं, इसलिए रिज्यूमे सबमिट करने से पहले उसे अच्छी तरह चेक करें।

स्पेलिंग और ग्रामर सही रखने के आसान टिप्स

  • ऑनलाइन टूल्स का इस्तेमाल करें: Grammarly, Microsoft Word Spell Check जैसे टूल्स आपकी मदद कर सकते हैं।
  • दो बार पढ़ें: रिज्यूमे को कम-से-कम दो बार खुद पढ़ें। किसी दोस्त या फैमिली मेंबर से भी पढ़वाएँ।
  • भारतीय नाम और टर्म्स: भारत के संदर्भ में उपयोग होने वाले शब्दों जैसे “Graduation”, “10th/12th”, “Percentage”, “CGPA” आदि को सही स्पेलिंग में लिखें।
  • सिंपल भाषा चुनें: बहुत मुश्किल शब्दों की जगह आसान, समझने योग्य अंग्रेजी या हिंदी का प्रयोग करें।

आम तौर पर होने वाली गलतियाँ और सुधार

गलत शब्द/वाक्य सही शब्द/वाक्य
Bachelor in Engeneering Bachelor in Engineering
I have good knowlege of MS Office. I have good knowledge of MS Office.
I am graduate from Delhi University. I am a graduate from Delhi University.
Completed 12th with 85 persentage. Completed 12th with 85 percent.
Carriculum Vitae attached. Curriculum Vitae attached.
प्रोफेशनल इम्प्रेशन बनाएं

Recruiter पर अच्छा प्रभाव डालने के लिए अपने रिज्यूमे को बार-बार proofread करें। साफ-सुथरी फॉर्मेटिंग, सही स्पेलिंग और बढ़िया ग्रामर से ही आपका रिज्यूमे ATS और HR दोनों के लिए आकर्षक बनता है। छोटे-छोटे बदलाव भी आपके इंटरव्यू कॉल पाने के चांस बढ़ा सकते हैं।